21 Apr, 2022
देश में आधी फीसदी से भी ज्यादा लोग कृषि पर निर्भर करते हैं. ऐसे में देश की कृषि व्यवस्था को उन्नत करने के लिए सरकार हर बार नई योजनाएं किसानों के लिए लाती रहती है. कृषि में उपयोगी वस्तुओं के लिए सरकार कईं तरह की योजनाएं एवं सब्सिडी की योजनाएं लाती रहती है. जिससे किसानों को कम लागत में कृषि उपयोगी सामान और उनसे जुड़ी सभी सुविधायें कम लागत में प्राप्त हो सकें और कृषि कर ज्यादा मुनाफा प्राप्त कर सकें.
ऐसे में सरकार अब किसानों के लिए नई योजना लेकर आईं हैं जिसमें किसानों को नलकूपों के लिए भी सब्सिडी मिलने वाली है. प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना ( Pradhan Mantri Krishi Sinchai Yojana) की शुरुआत हमारे देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के द्वारा किसानों को लाभ पहुँचाने के लिए की गई है. इस योजना के अंतर्गत देश के किसानों को अपने खेतों की सिंचाई के लिए उपकरणों के लिए सब्सिडी प्रदान की जाएगी. यह सब्सिडी किसानों को उन सभी योजनाओं के लिए भी प्रदान की जाएगी. जिसमें पानी की बचत, कम मेहनत और साथ ही खर्चे की भी सही तरह से बचत हो सकेगी. जिससे किसानों को अपने खेतों में सिंचाई करने में सुविधा होगी. इस योजना के लिए 93068 करोड़ रुपए के खर्च आने का अनुमान लगाया जा रहा है. जिसमें 37454 करोड़ रुपए की सहायता केंद्र सरकार द्वारा प्रदान की जाएगी. इसके आलावा सीसीईए द्वारा राज्यों के लिए 37454 करोड़ रुपए केन्द्रीय सहायता के साथ एवं प्रधानमन्त्री कृषि सिंचाई योजना 2016 के दौरान सिंचाई विकास करने के लिए भारत सरकार द्वारा लिए गए ऋण को चुकाने के लिए 20434.56 करोड़ रुपए मंजूर किए गए है.
इस योजना के तहत किसानों को अपने खेत में नलकूप यानि ट्यूबवेल लगवाने के लिए सरकार की ओर से 35 हजार रुपए तक सब्सिडी प्रदान की जाती है. बता दें कि बिहार सरकार की ओर से राज्य के किसानों को अपने खेत पर निजी ट्यूबवेल लगवाने के लिए आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है. इसके लिए राज्य सरकार की ओर से शताब्दी निजी नलकूप योजना (Shatabdi Niji Nalkoop Yojna) चलाई जा रही है. इसके लिए किसानों को सब्सिडी का लाभ प्रदान किआ जाता है. इस योजना का उद्देश्य हर खेत में पानी पहुंचाना और फसलों को उन्नत बनाना है. साथ ही बता दें कि बिहार की 80 प्रतिशत आबादी खेती और किसानी पर ही निर्भर करती है.
सब्सिडी मिलने का तय सीमा :-
जो किसान अपने खेत में नलकूप या ट्यूबवेल लगवाना चाहते है तो इसके लिए राज्य सरकार की ओर से किसानों को प्रति मीटर के हिसाब से सब्सिडी का लाभ प्रदान किया जाता है. बिहार शताब्दी नलकूप योजना के तहत राज्य के किसानों को 70 मीटर गहराई वाले निजी नलकूप लगवाने पर 328 रुपए प्रतिमीटर के अनुसार 15 हजार रुपए का अनुदान किया जाता है. वहीं 100 मीटर की गहराई वाले नलकूप लगवाने के पर 597 रुपए प्रतिमीटर के अनुसार 35 हजार रुपए की सहायता प्रदान की जानती है. इसके अलावा किसानों को पंप लगवाने के लिए भी 10 हजार रुपए प्रदान किए जाएंगे.
पिछले वर्षों में मानसून की अनिश्चितता की वजह से अल्प वर्षा के स्थिति में किसानों को सिंचाई के दौरान कई तरह की मुश्किलों की सामना करना पड़ता है. राज्य के 90 से 95 प्रतिशत किसान लघु और सीमान्त श्रेणी के हैं, ऐसे में सरकार की कृषि विकास (Agriculture Development) एवं कृषि उत्पादन में वृद्धि हेतु शुरू की गई यह निजी नलकूप योजना उनके लिए लाभकारी साबित होगी. ख़ास बात यह है कि ये योजना बिहार राज्य के सभी प्रखंडों में लागू की गई है.
इससे पहले सरकार ने योजना की पात्रता और भुगतान की प्रक्रिया में भी बदलाव कर दिया है. पहले निजी नलकूप लगाने वाले वैसे किसानों को ही अनुदान मिलता था जिनके पास कम से कम एक एकड़ जमीन हो लेकिन राज्य में एक एकड़ से कम जमीन वाले किसानों की संख्या 82.9 प्रतिशत है. जिससे ये सभी किसान सरकार की इस योजना से वंचित हो जाते थे. इसी वजह से लघु जल संसाधन विभाग ने योजना की पात्रता में बदलाव कर जमीन की जरूरत को मात्र 40 डीसमिल कर दिया है. साथ ही भुगतान और आवेदन के ऑनलाइन व्यवस्था करने का फैसला किया गया है. इसके लिए विभाद में तैयारी चल रही है और जल्द ही साड़ी प्रक्रिया ऑनलाइन कर दी जाएगी. उसके बात तय समय हर हाल में किसानों को अनुदान का भुद्तान हो जाएगा.
बिहार शताब्दी निजी नलकूप योजना में निजी नलकूप की सरकारी सब्सिडी सीधे खाते में दी जाती है. इसके लिए आपको ऑनलाइन आवेदन करना होता है. वहीं आवेदन स्वीकार करने के बाद 15 दिन में मंजूरी मिल जाती है.होता है. वहीं आवेदन स्वीकार करने के बाद 15 दिन में मंजूरी मिल जाती है.
सूत्रों के अनुसार राज्य के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट हर खेत तक सिंचाई योजना के तहत ही निजी नलकूप का नया नामकरण किया जा रहा है. अब इसका नाम हर खेत तक सिंचाई का पानी-निजी नलकूप योजना किया जा रहा है इससे पहले इसका नाम बिहार शताब्दी निजी नलकूप योजना था. हर खेत तक सिंचाई अभियान को लागू करने के लिए सर्वे करवाया जा रहा था. यह पूरा हो चुका है. इस सर्वे के बाद लघु जल संसाधन विभाग को 2025 तक 800 चेकडैम का निर्माण व 2400 आहर-पईन की मरम्मत सहित 21 हजार निजी नलकूप लगाने की जिम्मेदारी सौंपी गई है. सभी योजनाओं की अनुमानित लागत करीब 4000 करोड़ रुपए है.
सरकारी नलकूप को लगाने और रखरखाव बड़ी समस्या थी. ऐसे में निजी नलकूप को प्रोत्साहन देने के लिए सब्सिडी की राशि बढ़ाने की तैयारी की जा रही है. इसके साथ ही मोटर पंप सेट के लिउए मूल्य का पचास फीसदी या अधिकतम दस हजार रुपए सब्सिडी की राशि दी जाती थी जो कि इस एब्धाकर 15 हजार रुपए करने की योजना है. अभी के लिए योजना के लिए 100 करोड़ रुपए आवंटित किए गए है. इन सभी योजनाओं की डीपीआर बनाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. साथ ही बरसात के बाद इसी साल काम शुरू करने की समय सीम तय की गई है.
बिहार निजी नलकूप योजना के लिए आवश्यक दस्तावेज :-
आवेदक का आधार कार्ड
पहचान पत्र
मोबाइल नंबर
पासपोर्ट साइज़ फोटो
बैंक खाता पासबुक
लैंडहोल्डिंग सर्टिफिकेट/भुगतान रसीद
प्लांट में नो बोरिंग का सर्टिफिकेट पहले से उपलब्ध है
आवास प्रमाण पत्र
पत्र / हलफनामा
इसके बाद आपके सामने वेबसाइट का होम पेज खुल जाएगा.
वेबसाइट के होम पेज पर आपको आवेदन के विकल्प पर क्लिक करना होगा.
इसके बाद आपके सामने आवेदन फॉर्म खुल जाएगा.
इस फॉर्म में आपको अपने द्वारा पूछी गई व्यक्तिगत जानकारी जैसे नाम, पता, फील्ड से सम्बन्धित जानकारी, आधार नम्बर, मोबाइल नम्बर, आदि का विवरण दर्ज करना होगा और सभी आवश्यक दस्तावेज को अपलोड करना होगा.
इस तरफ बिहार शताब्दी निजी नलकूप योजना के लिए आपका आवेदन सफल हो जाएगा.
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